Rajasthan Board RBSE Class 6 Hindi Chapter 5 सहेली
Rajasthan Board RBSE Class 6 Hindi Chapter 5 सहेली
पाठ्य-पुस्तक के प्रश्नोत्तर
पाठ से
उच्चारण के लिए
प्रारंभिक, ड्रॉपर, शौवलर, प्रजाति
नोट—छात्र-छात्राएँ स्वयं करें।
सोचें और बताएँ
प्रश्न 1.
मिनी को प्रारंभिक शिक्षा पूरी करने के लिए खास प्रकार के स्कूल में क्यों भेजा जाता था?
उत्तर:
मिनी के हाथ-पैर कमजोर थे, इसलिए उसे खास प्रकार के स्कूल में भेजा जाता था। वहाँ उसे व्यायाम के साथ-साथ बोलना भी सिखाया जाता था।
प्रश्न 2.
प्रारंभ में मिनी की कोई सहेली क्यों नहीं थी?
उत्तर:
मिनी के हाथ-पैर कमजोर होने के कारण वह खेल नहीं सकती थी, बस कुर्सी पर बैठे हुए बच्चों को देखती रहती थी। इसलिए प्रारंभ में मिनी की कोई सहेली नहीं थी।
प्रश्न 3.
शौवलर प्रजाति के पक्षी अपने मूल स्थान से गर्म प्रदेशों में क्यों उड़ जाते हैं?
उत्तर:
शौवलर प्रजाति के पक्षी बफनी प्रदेशों में रहते हैं। वहाँ बहुत ज्यादा ठंड होने के कारण पक्षी अपने मूल स्थान से गर्म प्रदेशों में उड़ जाते हैं।
लिखें
बहुविकल्पीय प्रश्न
प्रश्न 1.
मिनी की गोद में आकर गिरने वाली चीज थी
(क) कबूतर
(ख) शौवलर प्रजाति की बतख
(ग) भूरे रंग का तीतर
(घ) सारस
प्रश्न 2.
मार्च के महीने में मौसम होता है
(क) ठंड
(ख) गर्मी
(ग) पतझड़
(घ) बरसात
उत्तर:
1. (ख)
2. (ग)
निम्न वाक्यों के आगे सही वाक्य पर सही का (✓) गलत वाक्य पर गलत (✗) का चिह्न लगाएँ.
प्रश्न 1.
मिनी अन्य बच्चों के साथ सामान्य स्कूल में पढ़ती थी।
प्रश्न 2.
जब बतख मिनी की गोद में आकर गिरी तो पहले तो वह घबरा गई।
प्रश्न 3.
मिनी ने बतख को चावल व दाल खिलाई।
प्रश्न 4.
सभी बच्चे मिनी के मित्र बन गए।
उत्तर:
1. गलत
2. सही
3. गलत
4. सही।
लघूत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
मिनी बालकनी में बैठकर क्या करती थी?
उत्तर:
शाम को मौसम ठंडा होने पर मिनी अपनी कुर्सी को बालकनी में ले आती थी। मिनी बालकनी में बैठकर बच्चों को खेलते हुए देखती थी।
प्रश्न 2.
शीवलर प्रजाति के पक्षी भारत में किस मौसम में आते हैं और वापस कब लौट जाते हैं?
उत्तर:
शौवलर प्रजाति के पक्षी भारत में ठंड (जाड़े) के मौसम में आते हैं और गर्मी के मौसम में वापस लौट जाते हैं।
प्रश्न 3.
बतख मिनी के घर पर कैसे आ गई थी?
उत्तर:
मिनी बालकनी में बैठी हुई थी तभी बतख पंख फड़फड़ाते हुए मिनी की गोद में आकर गिर गई थी। बस इसी तरह बतख मिनी के घर आ गई।
प्रश्न 4.
मिनी का ध्यान आते ही अंजू ने अपने मुँह पर हाथ क्यों रख लिया था?
उत्तर:
अंजू ने बतख के लिए कहा कि यहाँ इसका कोई दोस्त नहीं बनेगा, क्योंकि ये लंगड़ी है। लेकिन मिनी का ध्यान आते ही अंजू ने अपने मुँह पर हाथ रख लिया क्योंकि मिनी भी हाथ-पैर कमजोर होने के कारण चल-फिर नहीं सकती थीं।
दीर्घ उत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
मिनी अन्य बच्चों के साथ खेलने क्यों नहीं जा पाती थी?
उत्तर:
मिनी के हाथ-पैर कमजोर थे, इसलिए खेल नहीं सकती थी। बस कुर्सी पर बैठे खेलते बच्चों को निहारती रहती थी। इसी वजह से मिनी की किसी से दोस्ती भी नहीं हुई थी। इसी वजह से मिनी सबके साथ उनके स्कूल भी नहीं जा पाती थी। मिनी को प्रारंभिक शिक्षा पूरी करने के लिए खास प्रकार के स्कूल में भेजा जाता था।
प्रश्न 2.
मिनी ने बतख की देखभाल कैसे की?
उत्तर:
मिनी और उसकी माँ ने बतख को बहुत खिलाने की कोशिश की, पर उसने कुछ भी नहीं खाया। तब मिनी ने माँ से दूध-चावल लाने के लिए कहा। माँ ने मिनी के कहे अनुसार ही चावल और दूध मिलाकर एक कटोरी में रखा, पर बतख ने उसे नहीं खाया। तब मिनी ने उसे गोद में उठाकर ड्रॉपर से दूध पिलाया। दूध पीते ही उसकी आँखें चमकने लगीं। मिनी ने उसे अपने साथ रात में पलंग पर सुलाया और सुबह होने पर पहले उसने बतख को नाश्ता खिलाया। फिर बाद में उसने खाया। मिनी ने उसके घायल पंखों पर दवा भी लगाई।
प्रश्न 3.
अन्य बच्चों की मित्रता मिनी से कैसे हुई?
उत्तर:
मिनी के घर बतख के आ जाने पर कई बच्चे उसके घर आये और मिनी की माँ से बोले, “आंटी, हम बतख को देख लें।” मिनी बतख को ड्रॉपर से दूध पिला रही थी। सभी बच्चों ने उसे छू छूकर देखा और अपने स्कूल जाने से पहले मिनी से कहकर गये, मिनी हम सब स्कूल से लौटकर फिर आयेंगे। शाम को बच्चे मिनी के घर आए। इसी तरह धीरे-धीरे सभी बच्चे मिनी के मित्र बन गए।
प्रश्न 4.
मिनी व उसके पापा ने बतख को नहर के पानी में क्यों छोड़ दिया ?
उत्तर:
एक दिन मिनी के पिताजी मिनी और बच्चों को नहर के पास वाले पार्क में ले गये। ‘सहेली’ बतख को भी साथ लेकर गए थे। बतख को नहर में तैरने के लिए उतारा, वह धीरे-धीरे तैरने लगी और फिर पंख फड़फड़ाकर पानी में उछलने लगी। बच्चे बहुत देर तक उसे तैरते हुए देखते रहे। वह तैरते-तैरते दूर निकल गयी और बाद में अपने परिवार से मिल गयी।
भाषा की बात
प्रश्न 1.
अब वह धीरे-धीरे चलने के साथ अन्य कार्य भी करने लगी। प्रस्तुत वाक्य में रेखांकित वाक्यांश में धीरे-धीरे’ शब्द चलना क्रिया की विशेषता बता रहा है। जो शब्द क्रिया की विशेषता बताते हैं, उन्हें क्रिया विशेषण कहते हैं। आप भी पाठ में आए अन्य ऐसे शब्दों को छाँटकर लिखें जो क्रिया की विशेषता बताते हैं।
उत्तर:
- बच्चे चीखते हुए उसके आस-पास जमा हो गये।
- उसे गौर से देखने लगे।
- अचानक बारिश की बूंदें तेजी से गिरने लगीं।
- सभी बच्चों ने उसे छू-छूकर देखा।
- वह जोर से पुकारने लगी।
- मिनी उदास बैठी थी।
प्रश्न 2.
निम्नलिखित वाक्यों को पढ़िए
- माँ कमरे में आई।
- ऋचा बहुत थक गई थी।
- मिनी का कोई दोस्त नहीं था।
- बतख तैरने लगी।
हम अपने भावों, विचारों को अभिव्यक्त करने के लिए सार्थक शब्दों के व्यवस्थित समूह का प्रयोग करते हैं, जिसे वाक्य कहते हैं।
वाक्य के दो भाग होते हैं
- उद्देश्य
- विधेय।
उद्देश्य यानी कर्ता, विधेय यानी कर्ता के विषय में जो कुछ कहा जाए।
उपर्युक्त वाक्यों में उद्देश्य व विधेय निम्नानुसार हैं
उद्देश्य | विधेय |
1. माँ | कमरे में आई। |
2. ऋचा | बहुत थक गई थी। |
3. मिनी का | कोई दोस्त नहीं था। |
4. बतख | तैरने लगी। |
रचना की दृष्टि से वाक्य तीन प्रकार के होते हैं
- साधारण वाक्य
- संयुक्त वाक्य
- मिश्र वाक्य।
साधारण वाक्य-जिस वाक्य में एक उद्देश्य तथा एक विधेय होता है, अर्थात् एक कर्ता और उसकी एक ही क्रिया होती है, उसे साधारण वाक्य कहते हैं। उपर्युक्त सभी वाक्य साधारण वाक्य हैं।
आप भी अपनी पाठ्य-पुस्तक में से साधारण वाक्य छाँटकर लिखिए।
- मिनी घबरा गई।
- बतख थक गई थी।
- मिनी ने बतख की देखभाल की।
- बच्चे खेलने नहीं आए थे।
- तख के पंख घायल हो गये थे।
पाठ से आगे
प्रश्न 1.
अगर आपके परिवार में या आस-पास मिनी जैसा बालक/बालिका हो तो आप उसके साथ कैसा व्यवहार करेंगे?
उत्तर:
अगर हमारे परिवार में या आस-पास मिनी जैसा बालक/बालिका हो तो हम उसके साथ अपनत्व का व्यवहार करेंगे। उसे हमारी मदद की जरूरत होने पर हम उसकी मदद भी करेंगे। हम उससे सहानुभूति का व्यवहार न करके उसे हिम्मत से आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करेंगे।
प्रश्न 2.
अगर मिनी की माँ बतख को घर में नहीं रखने देती तो क्या होता?
उत्तर:
अगर मिनी की माँ बतख को घर में नहीं रखने देती तो उसका उपचार ढंग से नहीं हो पाता। उसके घायल पंखों पर दवा नहीं लग पाती और उसे खाना भी नहीं मिल पाता। हो सकता है शायद फिर बतख मर भी जाती।
प्रश्न 3.
अगर मिनी की जगह आप होते तो बतख का क्या करते?
उत्तर:
अगर मिनी की जगह हम होते, तो हम भी मिनी की तरह ही बतख की देखभाल करते। उसके घायल पंखों पर दवा लगाते और उसे खाना भी खिलाते। अगर चिकित्सक की जरूरत पड़ती तो हम उसे पक्षी-चिकित्सालय भी ले जाते और तब तक उसकी देखभाल करते जब तक वह ठीक होकर तैरने लायक नहीं हो जाती।
यह भी करें
सरकार द्वारा विशेष आवश्यकता वाले व्यक्तियों के लिए विशेष प्रकार की व्यवस्था की जाती है, जिससे उन्हें अपने दैनिक कार्य करने में किसी प्रकार की असुविधा न हो। आप उन व्यवस्थाओं के बारे में जानकारी प्राप्त कीजिए।
उत्तर:
सरकार द्वारा विशेष आवश्यकता वाले व्यक्तियों के लिए विशेष प्रकार की व्यवस्था की जाती है। इसके अंतर्गत ‘विशेष विद्यालय’ और ‘विशेष अस्पताल’ आदि आते हैं। उन विद्यालयों में विशेष व्यक्तियों को अपने दैनिक कार्य स्वयं करना सिखाया जाता है। विशेष तरह से बच्चों को पढ़ाया-लिखाया जाता है तथा उन्हें खेलकूद आदि भी कराये जाते हैं। अस्पतालों में इनकी शारीरिक जाँच समय-समय पर कराई जाती है। इनका शारीरिक तथा मानसिक विकास डॉक्टरों की देख-रेख में भली प्रकार कराया जाता है।
यह भी जानें
हमारे आस-पास या परिवार में ऐसे लोग होते हैं जो अपने दैनिक कार्यों को करने में असुविधा महसूस करते हैं। उन्हें विशेष सहायता की आवश्यकता होती है। सरकार द्वारा ऐसे लोगों की सुविधाओं एवं शिक्षा के लिए विशेष व्यवस्था की गई है, जिससे ये अपना जीवन बिना किसी असुविधा के व्यतीत कर सके। हमें भी कोशिश करनी चाहिए कि हम ऐसे व्यक्तियों की सहायता करें उन्हें उनकी नि:शक्तता का अहसास नहीं कराएँ, बल्कि उनके साथ मित्रवत् तथा सम्मानपूर्वक व्यवहार करें।
अन्य महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तर
बहुविकल्पीय प्रश्न
प्रश्न 1.
मिनी को स्कूल में व्यायाम के साथ और क्या सिखाया जाता था?
(क) खेलना
(ख) कूदना
(ग) रोना
(घ) बोलना
प्रश्न 2.
मिनी ने ड्रॉपर से बतख को क्या पिलाया
(क) चाय
(ख) दूध
(ग) पानी
(घ) कॉफी
प्रश्न 3.
मिनी ने बतख का नाम रखा
(क) पिंकी
(ख) गुड़िया
(ग) सहेली
(घ) चिंकी
उत्तर:
1. (घ)
2. (ख)
3. (ग)
रिक्त स्थान
(भीगी, झुड, प्रारंभिक, बारिश, खेलती)
- मिनी, अगर ……… हो तो अंदर आ जाना, भीगना मत।
- सहेली बाथरूम के दरवाजे के पास …. हुई झाँक रही है।
- दोनों एक-दूसरे के साथ कुछ देर तक ………. रहीं।
उत्तर:
- बारिश
- भीगी
- खेलती।
अतिलघु उत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
मिनी की कुर्सी किस प्रकार की थी?
उत्तर:
मिनी की कुर्सी में पहिए लगे थे, जिससे वह यहाँ-वहाँ जा सकती थी।
प्रश्न 2.
मिनी को खास स्कूल में जाने का क्या फायदा हुआ था?
उत्तर:
मिनी को यह फायदा हुआ कि वह धीरे-धीरे चलने के साथ हाथों से पेन, ब्रश या चम्मच पकड़ लेती थी।
प्रश्न 3.
बतख की प्रजाति कौन-सी थी?
उत्तर:
माँ ने मिनी को बताया कि बतख शौवलर प्रजाति की
प्रश्न 4.
मिनी ने माँ से बतख के खाने के लिए क्या मँगाया?
उत्तर:
मिनी ने माँ से बतख के खाने के लिए दूध और चावल मँगाया।
लघु उत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
मिनी को खास स्कूल में क्या-क्या सिखाया जाता था?
उत्तर:
मिनी को प्रारंभिक शिक्षा के लिए खास स्कूल में भेजा जाता था। इस स्कूल में उसे पढ़ाई के साथ तरह-तरह के व्याया। और बोलना भी सिखाया जाता था, जिससे उसे काफी फायदा भी हुआ।
प्रश्न 2.
मिनी की गोद में बतख कब आकर गिरी?
उत्तर:
मिनी बालकनी में बैठकर बच्चों को पार्क में खेलते हुए देख रही थी। अचानक बारिश शुरू हो गई थी, तभी मिनी की गोद में पंख फड़फड़ाते हुए छोटी सी वस्तु आकर गिर गई। वह बतख थी।
प्रश्न 3.
बतख को देखकर मिनी और उसकी माँ ने क्या अनुमान लगाया?
उत्तर:
बतख को देखकर मिनी और उसकी माँ ने अनुमान लगाया कि अपने घर लौटते वक्त यह अपने झुंड से बिछुड़ गई होगी। अपने बाकी साथियों को खोजने के लिए ज्यादा उड़ान भरने की वजह से थक गई होगी।
प्रश्न 4.
मिनी ने बतख को क्या-क्या खिलाने-पिलाने की कोशिश की?
उत्तर:
माँ ने जब पक्षी को उठाने की कोशिश की तो वह लड़खड़ाती हुई अंदर चली गयी और एक कोने में लेटकर हाँफने लगी। मिनी और माँ ने उसे दूध-चावल खिलाने की कोशिश की, पर बतख ने उसे मुँह भी नहीं लगाया। मिनी को ड्रॉपर द्वारा दूध पिलाते ही बतख की आँखें चमकने लगीं।
दीर्घ उत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
पाठ के आधार पर मिनी का चरित्र चित्रण लिखिए।
उत्तर:
पाठ के आधार पर मिनी का चरित्र-चित्रण निम्नलिखित है
- निशक्त लड़की—मिनी हाथ-पैर से कमजोर थी। वह चल फिर नहीं सकती थी। बाकी बच्चों की तरह वह् खेलकूद नहीं सकती। उसे चलने फिरने के लिए पहिए वाली कुर्सी का सहारा लेना पड़ता था।
- मिनी का अकेलापन—मिनी कहीं बाहर आती-जाती नहीं थी। वह खेलती भी नहीं थी। इसी वजह से प्रारंभ में उसकी कोई सहेली भी नहीं थी। वह अकेली ही बैठी रहती थी और बच्चों को खेलते हुए देखती रहती थी।
- मिनी की दयालुता—मिनी मन की बहुत दयालु और कोमल थी। तभी तो बतख को देखकर उसके मन में करुणा भर आयी। उसने बतख की बहुत अच्छी तरह से देखभाल की। उसे ड्रॉपर से दूध पिलाया और उसके घायल पंखों में दवा भी लगाई।
- दृढ़ इच्छाशक्ति—मिनी दयालु होने के साथ ही बहुत हिम्मत वाली थी। उसकी कोई सहेली न होने के कारण उसने बतख को अपनी सहेली बना लिया। इसके बावजूद बतख को अपने झुंड से मिलाने के लिए उसने उसे नहर में तैरने के लिए उतार दिया और बतख चली गयी।
प्रश्न 2.
कहानी ‘सहेली’ के आधार पर मिनी की माँ के स्वभाव के बारे में अपने शब्दों में लिखिए।
उत्तर:
कहानी में माँ ने सहनशीलता, धैर्य, प्रेम, ज्ञानवर्धक और परोपकार जैसे गुणों को दर्शाया है। माँ ने मिनी की भावनाओं को ठेस नहीं पहुँचायी और कहानी में उसके द्वारा किये गये हर कार्य में उसकी मदद की। माँ ने पक्षी के प्रति मिनी के प्रेम को अनदेखा करने के बजाय उसे पक्षी के बारे में अत्यंत रोचक व ज्ञानवर्धक जानकारियाँ दीं। पाठ में माँ और मिनी के आपसी रिश्तों को जिस तरह दर्शाया गया है। वह सचमुच सराहना के योग्य है। वास्तव में माँ ने अपना पात्र बखूबी निभाया है।
कठिन शब्दार्थ
पतझड़ = पेड़ के पत्तों का झड़ना। मौसम = ऋतु। शाखाएँ = पेड़ों की डालियाँ। प्रारंभिक = शुरुआत। व्यायाम = कसरत। फायदा = लाभ। परवाह = चिंता। मस्त = खुश। हिम्मत = साहस। आसमान = आकाश। प्रजाति = एक विशेष वर्ग। बर्फानी = बहुत ज्यादा ठंडे। झुंड = समूह। लड़खड़ाती = काँपती। ड्रॉपर = बूंद-बूंद कर तरल पदार्थ गिराने वाली पिचकारी। बेचारी = असहाय। पार्क = बगीचा। फड़फड़ाकर = बहुत ज्यादा खुश होकर। टा-टा, बाय-बाय = विदा। सँभालकर = अच्छी तरह से। मित्र = दोस्त। उदास = दु:खी।
गद्यांशों की सप्रसंग व्याख्या एवं अर्थग्रहण संबंधी प्रश्नोत्तर
(1)
माँ ने बताया, ‘मिनी, यह बतख है-शौवलर प्रजाति की बतख। यह उनं प्रवासी पक्षियों में से एक है जो हजारों किलोमीटर दूर उत्तर की ओर बर्फानी प्रदेशों में रहते हैं। जब वहाँ सर्दी और ज्यादा बढ़ जाती है तो वे दक्षिण की ओर गर्म प्रदेशों में उड़ जाते हैं। जाड़े के मौसम में यहीं रहते हैं और गर्मियाँ शुरू होते ही वापस लौट पड़ते हैं।
प्रसंग-प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक के ‘सहेली’ नामक पाठ से लिया गया है। इसकी लेखिका पदमा राव हैं। इन पंक्तियों में मिनी की माँ उसको बतख के बारे में बता रही है।
व्याख्या/भावार्थ-माँ मिनी को बताती है कि यह एक शौवलर प्रजाति की बतख हैं। यह उन दूसरे देश के पक्षियों में से एक है जो उत्तर दिशा की ओर, जहाँ बहुत अधिक ठंड पड़ती है, हजारों किलोमीटर दूर देशों से उड़कर, दक्षिण में गर्मी की तलाश में यहाँ आते हैं। जाड़े भर गर्म प्रदेशों में रहते हैं और गर्मियाँ शुरू होते ही वापस लौट जाते हैं।
प्रश्न 1.
बतख कौन-सी प्रजाति की थी?
उत्तर:
बतख शौवलर प्रजाति की थी।
प्रश्न 2.
प्रवासी पक्षी कहाँ रहते थे?
उत्तर:
प्रवासी पक्षी हजारों किलोमीटर दूर उत्तर की ओर बर्फानी प्रदेशों में रहते थे।
प्रश्न 3.
सर्दियों में पक्षी किस दिशा में उड़ जाते थे?
उत्तर:
सर्दियों में पक्षी दक्षिण दिशा में गर्म प्रदेशों में उड़ जाते थे।
प्रश्न 4.
गर्मियों में पक्षी कहाँ लौट पड़ते थे?
उत्तर:
गर्मियाँ शुरू होते ही पक्षी वापस अपने घर उत्तर दिशा की ओर लौट पड़ते थे।
(2)
माँ ने मिनी के कहे अनुसार ही चावल और दूध मिलाकर एक कटोरी में रखा, पर बतख ने उसे मुँह भी नहीं लगाया। तब मिनी ने उसे गोद में बिठाकर ड्रॉपर से दूध पिलाया। दूध पीते ही उसकी आँखें चमकने लगीं। अब वो पंख फैलाकर मिनी की गोद में लेट गई।
“माँ, यह मेरी सहेली है। मैं इसका नाम ‘सहेली’ रचूँगी।” मिनी ने कहा। माँ मुसकुरा दी।
प्रसंग-प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक के ‘सहेली’ नामक पाठ से लिया गया है। इसकी लेखिका पदमा राव हैं। इन पंक्तियों में घायल बतख के बारे में बताया गया है।
व्याख्या/भावार्थ-मिनी ने माँ से कहा कि बतख के लिए दूध और चावल मिलाकर ले आएँ, पर बतख उसको खाती नहीं है। तब मिनी उसे गोद में उठाती है और बूंद-बूंद दूध ड्रॉपर से उसे पिलाती है। दूध पीने के बाद बतख की आँखें चमकने लगीं। बतख पंख फैलाकर मिनी की गोद में लेट गई थी। मिनी अपनी माँ से कहती है कि यह आज से मेरी सहेली है और मैं इसका नाम भी सहेली रखेंगी। मिनी की इस बात से माँ मुस्करा दी।
प्रश्न 1.
माँ ने कटोरी में क्या मिलाकर रखा था?
उत्तर:
माँ ने मिनी के कहने पर चावल और दूध मिलाकर कटोरी में रखा।
प्रश्न 2.
मिनी ने बतख को गोद में बिठाकर क्या पिलाया?
उत्तर:
मिनी ने बतख को गोद में बिठाकर ड्रापर से दूध पिलाया।
प्रश्न 3.
दूध पीकर बतख को क्या हुआ?
उत्तर:
दूध पीकर बतख की आँखें चमकने लगीं।
प्रश्न 4.
मिनी ने बतख का क्या नाम रखा?
उत्तर:
मिनी ने बतख का नाम ‘सहेली’ रखा।
(3)
कुछ दिन बाद ‘सहेली’ बिल्कुल ठीक हो गई। एक कागरे से दूसरे में उड़ती रहती थी। एक दिन मिनी के पिताजी मिनी और बच्चों को नहर के पास वाले पार्क में ले गए। सहेली को भी साथ लेकर गये। ‘सहेली’ को नहर में तैरने के लिए उतारा, वह धीरे-धीरे तैरने लगी और फिर पंख फड़फड़ाकर पानी में उछलने लगी। बच्चे बहुत देर तक उसे तैरते हुए देखते रहे। वह तैरते-तैरते दूर निकल गई।
प्रसंग-प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक के ‘सहेली’ नामक पाठ से लिया गया है। इसकी लेखिका पदमा राव हैं। इन पंक्तियों में बतख की प्रवृत्ति का उल्लेख किया है।
व्याख्या/भावार्थ-मिनी की देखभाल से उसकी ‘सहेली’ बतख बिल्कुल ठीक हो गयी थी। वह एक कमरे से दूसरे कमरे यानि कि सारे घर में उड़ती फिरती थी। एक दिन मिनी पिताजी और बतख के साथ पार्क में गयी थी। उनके साथ बच्चे भी थे। पार्क के पास नहर में ‘सहेली’ बतख को तैरने के लिए उतार दिया। वह धीरे धीरे तैरने लगी और फिर पंख फड़फड़ाकर
पानी से खेलने लगी। बच्चे उसे खुश होकर देखते रहे। बतख तैरते हुए नदी में बहुत दूर चली गयी।
प्रश्न 1.
ठीक होने के बाद ‘सहेली’ क्या करने लगी?
उत्तर:
ठीक होने के बाद ‘सहेली’ एक कमरे से दूसरे में उड़ती रहती थी।
प्रश्न 2.
मिनी के पिताजी मिनी और बच्चों को कहाँ ले गए?
उत्तर:
मिनी के पिताजी मिनी और बच्चों को नहर के पास वाले पार्क में ले गए।
प्रश्न 3.
‘सहेली’ को नहर में क्यों उतारा गया?
उत्तर:
‘सहेली’ को नहर में तैरने के लिए उतारा गया।
प्रश्न 4.
‘सहेली’ नहर में क्या करने लगी?
उत्तर:
‘सहेली’ नहर में धीरे-धीरे तैरने लगी और फिर पंख फड़फड़ाकर पानी में उछलने लगी।